सिबिल स्कोर बढ़ाने के लिए कई असरदार और प्रैक्टिकल तरीके हैं, जो समय पर अपनाने पर बेहतर फाइनेंशियल भविष्य की ओर ले जाते हैं.

 

 

 

 

 

 

1. समय पर भुगतान करें

हर तरह के लोन या क्रेडिट कार्ड की EMI समय पर चुकाना सबसे जरूरी है। देर या चूकने पर स्कोर गिरता है, और पेनल्टी भी लगती है. ऑटो-डेबिट या रिमाइंडर लगा सकते हैं ताकि कोई चुका न हो।

2. अपने क्रेडिट उपयोग को सीमित रखें

अपने क्रेडिट कार्ड की लिमिट का 30% से कम इस्तेमाल करें.
उदाहरण: अगर लिमिट ₹1,00,000 है, तो हर महीने ₹30,000 से कम खर्च करें। ज्यादा उपयोग स्कोर नीचे ले जाता है।

3. विविधता रखें क्रेडिट प्रोफाइल में

सिर्फ एक ही तरह का लोन न लें। सिक्योर और अनसिक्योर लोन जैसे पर्सनल लोन, होम लोन, क्रेडिट कार्ड आदि का संतुलित मिश्रण स्कोर सुधारता है.

4. क्रेडिट रिपोर्ट में ग़लतियाँ जल्दी सुधारें

हर साल मुफ्त क्रेडिट रिपोर्ट निकलवाएं। अगर कोई लोन या भुगतान ग़लत तरीके से दर्ज है, तो तुरंत शिकायत करें और सही करवाएं—इससे स्कोर तुरंत सुधर सकता है.

5. बार-बार नया लोन या कार्ड न लें

हर बार नया लोन या कार्ड के लिए अप्लाई करने से ‘हार्ड इन्क्वायरी’ होती है, और स्कोर कम हो सकता है. एक साथ कई अप्लिकेशन से बचें।

6. पुराने अकाउंट बंद न करें

पुराने क्रेडिट कार्ड या लोन के एक्टिव अकाउंट बनाए रखें। ज्यादा पुराना क्रेडिट हिस्ट्री अच्छा स्कोर बनाने में मदद करता है.

7. बकाया जल्दी चुकाएँ

अगर कोई पुराना लोन या बकाया बाकी है तो उसे जल्द से जल्द पूरी तरह चुका दें.

8. क्रेडिट सीमा बढ़ाएँ लेकिन सावधानी से

अगर नियमित रूप से समय पर भुगतान करें, तो बैंक से अपने कार्ड की लिमिट बढ़वाएं—परंतु खर्च गौर से करें, लिमिट का ज़्यादा यूज़ न करें.

9. संयुक्त रूप से लोन लेने से बचें अगर दूसरा व्यक्ति की क्रेडिट हिस्ट्री खराब है

अगर किसी के साथ पार्टनर बनकर लोन लेते हैं, तो उनके स्कोर की भी जांच लें.

10. एक्सपर्ट से सलाह लें

अगर बहुत कठिनाई आ रही है तो फाइनेंशियल/क्रेडिट एक्सपर्ट की मदद लें जो आपकी आर्थिक स्थिति देख कर सलाह देंगे.


इन सभी तरीकों से सिबिल स्कोर में धीरे-धीरे सुधार होता है और लोन के लिए बेहतर ब्याज दर तथा सुविधा मिलती है। नियमित अनुशासन और सचेत फाइनेंशियल व्यवहार ही इसका मूल मंत्र है.